सत्य की विजय by Luigi Mussini - 1847 सत्य की विजय by Luigi Mussini - 1847

सत्य की विजय

कैनवस और आयल कलर •
  • Luigi Mussini - 19 December 1813 - 18 June 1888 Luigi Mussini 1847

आज आपके समक्ष जो चित्र प्रस्तुत हैं उसके लिए हम शुक्रगुज़ार है मिलान से मुसो पोलड़ी पेज़्ज़ुली , जहाँ आप मार्च 17 तक उनकी प्रदर्शनी  का अनुभव कर सकते हैं जो है रोमांटिसिज्म  पर | 

यह व्यंजनात्मक चित्र को चित्रण करने का  साधिकार कार्य  एक कुलीन उदारवादी फिलिप्पो अला पोज़ोने ने 1847 में  दिया था।  इस चित्र में वर्णन किया गया है " उन् महान लोगों का जिन्होंने योगदान दिया हैं विश्व में प्रकाश फैलाने और  असत्यता और झूट से लड़ने में  " ।   

सत्य को एक युवा नग्न लड़की को मशाल पकडे हुए स्वरुप  में  दर्शाया गया है।  उसके दाएं में संत फिलिप द्वारा एक काले रंग  के आदमी को ईसाई दीक्षा देते हुए दर्शाया  गया  है। उनके पीछे दार्शनिक सोक्रेटस, प्लेटो व् एरिस्टोटल , साथ में एलेग्जेंडर , अलसबीएडस , एस्चीलस और कन्फ़्यूशियस भी दर्शाये गए हैं।  चित्र के अग्र  भाग में मूर्तिकार फीडिअस (पीछे से) और जिओत्तो  "जिसने सत्य और सौंदर्य के लिए रास्ता बनाया" |  वेदी के बाएं पक्ष में, वैज्ञानिक कॉपरनिकस और गैलिलियो (बीच में हरे रंग के लिबास को पहने हुए) , न्यूटन , केप्लेर , पास्कल और कोविइर , साथ में क्रिस्टोफर कोलंबस (हाथ में ग्लोब पकडे हुए) , नयी दुनिया का खोजकर्ता  और हेरोडेतुस , जो ऐतिहासिक सत्य का प्रतिनिधित्व करते हैं।  गैलिलियो के पीछे हैं डांटे जो हैं "सबसे ऊंची काव्य सत्यता की अभिव्यक्ति  " |

 यह चित्र 1848 के प्रारम्भ में  धर्म निरपेक्ष मूल्यों  के उजागरण के प्राकट्य को दर्शाता है | 

पश्च लेख (P.S): जोसफ राइट "डर्बी" और उजागरण  के बारे में और पढ़ने के लिए ये लिंक को क्लिक करें